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एफपीओ गठन के लक्ष्य के करीब है एनसीडीसी

केंद्रीय सहकारिता मंत्री अमित शाह ने कहा कि एनसीडीसी को 763 सहकारी एफपीओ के गठन एवं संवर्धन के लिए प्रारंभिक लक्ष्य आवंटित किया गया था, जिसके सापेक्ष 672 एफपीओ को संबंधित राज्य सहकारी अधिनियमों के तहत पंजीकृत किया जा चुका है।

उन्होंने आगे कहा, प्राथमिक कृषि सहकारी साख समितियों (पैक्स) को सुदृढ करते हुए, सहकारी क्षेत्र में एफपीओ के गठन एवं संवर्धन हेतु भारत सरकार द्वारा एनसीडीसी को अतिरिक्त 1,100 किसान उत्पादक संगठनों (एफपीओ) का लक्ष्य आवंटित किया गया है। 1100 एफपीओ के लक्ष्य के सापेक्ष एनसीडीसी द्वारा 645 ब्लॉकों का चयन एवं आवंटन पूरा कर लिया गया है।

भारत सरकार ने वर्ष 2020 में 6,865 करोड़ रुपये के कुल बजटीय परिव्यय के साथ “10,000 किसान उत्पादक संगठनों (एफपीओ) के गठन और संवर्धन” के लिए केंद्रीय क्षेत्रक योजना शुरू की। इससे किसानों को अपनी क्रय शक्ति बढ़ाने, इकोनॉमीस ऑफ स्केल का लाभ उठाने, उत्पादन की लागत कम करने और कृषि उपज के एकत्रीकरण के माध्यम से अपनी आय बढ़ाने में सक्षम बनाया जा रहा है, जिससे सतत आय की दिशा में एक प्रमुख भूमिका निभाई जा रही है।

“पैक्स को सुदृढ करने के लिए भारत सरकार ने पैक्स के सदस्यों के माध्यम से 1,100 नए एफपीओ के गठन का लक्ष्य आवंटित किया है। इसका उद्देश्य जिला, राज्य और राष्ट्रीय स्तर के संघों के माध्यम से आवश्यक बाजार संपर्क प्रदान करते हुए मौजूदा पैक्स को उनकी उपज के लिए लाभकारी मूल्य प्रदान करके सुदृढ करना है। इससे पैक्स की आर्थिक गतिविधियों में विविधता आएगी, जिससे वे आय के नए और स्थिर स्रोत उत्पन्न करने में सक्षम होंगे”, उन्होंने कहा।

योजना के अंतर्गत, एफपीओ को 3 वर्ष की अवधि के लिए 18.00 लाख रुपये तक की वित्तीय सहायता प्रदान की जा रही है। इसके अतिरिक्त, 15.00 लाख रुपये की सीमा तक एफपीओ के प्रति किसान सदस्य को 2,000 रुपये तक के मैचिंग इक्विटी अनुदान का प्रावधान किया गया है। साथ ही, संस्थागत ऋण की पहुंच सुनिश्चित करने के लिए पात्र ऋण प्रदान करने वाली संस्था से परियोजना ऋण के लिए 2 करोड़ रुपये तक की क्रेडिट गारंटी सुविधा का प्रावधान भी किया गया है।

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