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आरबीआई ने एक सप्ताह के अंदर सात यूसीबी पर लगाया जुर्माना

भारतीय रिजर्व बैंक ने एक सप्ताह के अंदर सात से अधिक शहरी सहकारी बैंकों पर जुर्माना लगाया है। यह बैंक देश के विभिन्न राज्यों में स्थित हैं। आरबीआई ने सबसे अधिक जुर्माना एपी महेश बैंक पर लगाया है।

भारतीय रिज़र्व बैंक ने दिनांक 28 जून 2021 के आदेश द्वारा आंध्र प्रदेश महेश को-ऑपरेटिव अर्बन बैंक लिमिटेड, हैदराबाद (बैंक) पर “जमाराशि पर ब्याज” और “अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी) पर रिज़र्व बैंक द्वारा जारी निदेश के उल्लंघन के लिए 112.50 लाख (एक करोड़ बारह लाख और पचास हजार रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है।

यह दंड रिज़र्व बैंक द्वारा बैंककारी विनियमन अधिनियम, 1949 की धारा 46 (4) (i) और धारा 56 के साथ पठित धारा 47 ए (1) (सी) के प्रावधानों के तहत रिज़र्व बैंक को प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए लगाया गया है।

आरबीआई ने अहमदाबाद मर्केंटाइल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड पर “जमाराशि पर ब्याज” पर रिज़र्व बैंक द्वारा जारी निदेश के उल्लंघन के लिए 62.50 लाख (बासठ लाख और पचास हजार रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है।

इसी तरह, एसवीसी को-ऑपरेटिव बैंक लि., मुंबई (बैंक) पर ‘जमाराशियों पर ब्याज दर’ संबंधी मास्टर निदेश और ‘धोखाधड़ी की निगरानी और रिपोर्टिंग तंत्र’ संबंधी परिपत्र में निहित निदेशों के अननुपालन के लिए 37.50 लाख (सैंतीस लाख पचास हजार रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है।

सारस्वत को-ऑपरेटिव बैंक लि., मुंबई (बैंक) पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘जमाराशियों पर ब्याज दर’ संबंधी मास्टर निदेश और ‘जमा खातों की देख-रेख’ संबंधी मास्टर परिपत्र में निहित निदेशों के अननुपालन के लिए 25 लाख (पाचीस लाख रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है।

आरबीआई का कहना है कि यह कार्रवाई विनियामक अनुपालन में कमियों पर आधारित है और इसका उद्देश्य बैंक द्वारा अपने ग्राहकों के साथ किए गए किसी भी लेनदेन या समझौते की वैधता पर सवाल करना नहीं है।

इससे पहले 23 जून को, भारतीय रिजर्व बैंक ने जनसेवा सहकारी बैंक लिमिटेड, पुणे (बैंक) पर “अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी) पर रिज़र्व बैंक द्वारा जारी निदेश के उल्लंघन के लिए 2 लाख (दो लाख रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया था।

इसी तरह, एक्सलेंट को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड मुंबई (बैंक) पर ‘जमा खातों के रखरखाव” और “अपने ग्राहक को जानिए (केवाईसी) पर रिज़र्व बैंक द्वारा जारी निदेश के उल्लंघन के लिए 4 लाख (चार लाख रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया गया था।

कोल्हापुर स्थित अजरा अर्बन को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड पर भारतीय रिज़र्व बैंक द्वारा जारी ‘जमा खातों का रखरखाव’ संबंधी निदेशों के उल्लंघन के लिए 2 लाख (दो लाख रुपये मात्र) का मौद्रिक दंड लगाया है।

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