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अमरेली स्थित भाग्यलक्ष्मी को-ऑप विकास की राह पर

देश में कुछ ही सहकारी संस्थाएं सीधे महिलाओं द्वारा संचालित की जाती है जिनमें से उपभोक्ता सहकारी संस्थाओं की संख्या बहुत कम हैं। एक ऐसी ही उपभोक्ता सहकारी संस्था- भाग्यलक्ष्मी महिला क्रेडिट और उपभोक्ता सहकारी समिति जो न केवल महिलाओं को रोजगार प्रदान कर रही है बल्कि उनको सुदृढ़ बनाने में अहम भूमिका निभा रही हैं।

अमरेली स्थित “भाग्यलक्ष्मी महिला क्रेडिट एंड कंज्यूमर्स कोऑपरेटिव सोसाइटी” एक कृषि प्रसंस्करण इकाई स्थापित करने की प्रक्रिया में हैं।

सोसाइटी की अध्यक्ष भावना गोंदलिया ने भारतीयसहकारिता से बात करते हुए कहा, “जैसा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी किसानों की आय दोगुना करना चाहते हैंहम अपने जिले में एक कृषि प्रसंस्करण इकाई स्थापित करने की प्रक्रिया में हैं ताकि किसानों को उनकी उपज का अच्छा दाम मिल सकें”।

उन्होंने कहा, “प्रोसेसिंग यूनिट स्थापित करने के पीछे किसानों का उत्पादन सीधे इकट्ठा करना और उन्हें ग्रेडिंगप्रोसेसिंग और मार्केटिंग के लिए तैयार करना है। हमारी सोसाइटी से जुड़े 4000 से अधिक किसानों को फायदा मिलेगी। उन्हें न केवल अपनी उपज के लिए अच्छी कीमत मिलेगीबल्कि अतिरिक्त आय भी हासिल होगी।

इसके अलावासोसाइटी ने अपने शेयरधारकों को 15 प्रतिशत लाभांश देने का फैसला किया है। 

गोंदलिया ने कहा, “हमें किसानों को उर्वरक बेचने का लाइसेंस भी मिला है और जल्द ही किसानों को उनके घर पर इफको यूरिया और अन्य उत्पादों की आपूर्ति करेंगे।”

इस बीच उन्होंने गुजरात के दिग्गज सहकारी नेता दिलीप संघानी के प्रति आभार व्यक्त किया और बताया कि संघानी ने सोसाइटी की योजनाओं में गहरी रुचि दिखायी और संकट की स्थिति में काफी मदद भी की।

देश में सहकारी आंदोलन को मजबूत बनाने में एनसीयूआई के अध्यक्ष चंद्र पाल सिंह यादव का धन्यवाद करते हुएसुश्री गोंदलिया ने कहा कि इसे विकसित करने के लिए सही तरह के पारिस्थितिकी तंत्र की आवश्यकता होती है।

वर्तमान मेंसोसाइटी का व्यवसाय करोड़ रुपये से अधिक है।

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