
गुजरात के आनंद स्थित एनडीडीबी के सभागार में 24-25 मई को सहकार भारती के डेयरी प्रकोष्ठ का दो दिवसीय राष्ट्रीय अधिवेशन भव्य रूप से आयोजित किया गया।
कार्यक्रम का शुभारंभ गुजरात सरकार के सहकारिता मंत्री जगदीश विश्वकर्मा, अमूल डेयरी के चेयरमैन विपुल भाई पटेल, एनडीडीबी चेयरमैन मीनेश शाह, सरदार बल्लभ भाई पटेल विश्वविद्यालय के कुलपति निरंजन, अमूल डेयरी मार्केटिंग फेडरेशन के चेयरमैन शामल भाई पटेल, सहकार भारती के राष्ट्रीय महामंत्री दीपक चौरसिया, सहकार भारती डेयरी प्रकोष्ठ के राष्ट्रीय प्रमुख देवेन्द्र शर्मा सहित अन्य व्यक्तियों ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्ज्वलित करके किया।
अधिवेशन के पहले दिन के पहले सत्र में बनास डेयरी के चेयरमैन और गुजरात विधानसभा अध्यक्ष शंकरभाई चौधरी ने सफलता की कहानियों के माध्यम से अपने अनुभव साझा किए।
इसके बाद के दूसरे सत्र में एनडीडीबी के वैज्ञानिकों और विशेषज्ञों ने आए हुए किसानों और दुग्ध उत्पादकों की दुग्ध गुणवत्ता और उत्पादकता बढ़ाने के उपायों पर विस्तार से चर्चा की।
तीसरे सत्र में आनंद कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति श्री कटारिया ने स्वदेशी नस्लों के गौवंश पर अपने शोध कार्य का विस्तृत परिचय दिया, इसके बाद श्री गोपाल ने गौ आधारित कृषि पर व्याख्यान प्रस्तुत किया।
दूसरे दिन अमूल डेयरी के प्रबंध निदेशक जयेन मेहता ने अमूल की सफलता की गाथा प्रस्तुत की और किसानों एवं दुग्ध उत्पादकों के व्यवसाय में अमूल की भूमिका और योगदान पर चर्चा की। उन्होंने दुग्ध उत्पादकता से जुड़ी विभिन्न जिज्ञासाओं का समाधान भी किया।
कार्यक्रम में देश के विभिन्न हिस्सों से आईं सफल महिला डेयरी व्यवसायी जैसे गायत्री बेन, मित्तल बेन, मीना बेन ने भी अपने अनुभव साझा किए।
अधिवेशन के समापन सत्र में सहकार भारती के राष्ट्रीय संगठन मंत्री संजय पाचपोर ने सहकारिता के माध्यम से डेयरी के विविध उत्पादों का उत्पादन कर व्यवसाय को बढ़ाने पर अपने विचार प्रकट किए।
यह अधिवेशन डेयरी क्षेत्र में नवाचार, उत्पादन क्षमता बढ़ाने तथा सहकारी प्रयासों को और सशक्त बनाने के लिए एक महत्वपूर्ण मंच साबित हुआ।