
पिछले सप्ताह पुणे में राष्ट्रीय कृषि और ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) के 44वें स्थापना दिवस समारोह को संबोधित करते हुए केंद्रीय सहकारिता राज्यमंत्री मुरलीधर मोहोळ ने कहा कि ग्रामीण आधारभूत संरचना विकास निधि (आरआईडीएफ) के अंतर्गत नाबार्ड ने देशभर में लगभग 8 लाख परियोजनाओं को वित्त पोषण प्रदान किया है।
“इनमें सिंचाई व्यवस्था, ग्रामीण सड़कें, स्कूल, महाविद्यालय और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र जैसी आवश्यक सुविधाएँ शामिल हैं। इससे सिंचाई क्षमता में वृद्धि हुई है और राज्य सरकारों को ग्रामीण क्षेत्रों में सार्वजनिक निवेश बढ़ाने में सहायता मिली है”, उन्होंने कहा।
मोहोळ ने आगे कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी और केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमितभाई शाह जी के नेतृत्व में बीते कुछ वर्षों में नाबार्ड जैसी संस्थाओं के माध्यम से आत्मनिर्भर ग्रामीण भारत की दिशा में ठोस कदम उठाए जा रहे हैं।
देशभर की 67,000 से अधिक प्राथमिक कृषि साख संस्थाओं (पैक्स) के संगणकीकरण (डिजिटलीकरण) के अभियान में नाबार्ड की महत्वपूर्ण भूमिका रही है, जिससे इन संस्थाओं की कार्यकुशलता और पारदर्शिता में उल्लेखनीय सुधार होगा।
इस कार्यक्रम में महाराष्ट्र सरकार के सहकार सचिव प्रवीण दराडे, सहकार आयुक्त दीपक तावरे, नाबार्ड की मुख्य महाप्रबंधक श्रीमती रश्मी दराद, गोवर्धन सिंह रावत, नाबार्ड के अधिकारी, सहकारिता विभाग के अधिकारी एवं सहकारी बैंकों के प्रतिनिधिगण उपस्थित थे।