
हिमाचल प्रदेश देश का पहला राज्य बना जहाँ दूध पर न्यूनतम समर्थन मूल्य लागू किया गया है। पिछले ढाई वर्षों में राज्य सरकार ने पशुपालकों को सशक्त बनाने, डेयरी सहकारी समितियों को मजबूत करने और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को स्थिरता प्रदान करने के लिए कई महत्वपूर्ण सुधार किए हैं।
वर्तमान में राज्य के 38,400 किसान प्रतिदिन 2.25 लाख लीटर गाय का दूध 51 रुपये प्रति लीटर की दर से आपूर्ति कर रहे हैं। वहीं 1,482 भैंस पालक प्रतिदिन 7,800 लीटर दूध 61 रुपये प्रति लीटर की दर से बेच रहे हैं। इसके अलावा, बकरी के दूध की खरीद पायलट प्रोजेक्ट के तहत 70 रुपये प्रति लीटर की दर से शुरू की गई है।
पहाड़ी क्षेत्रों में लॉजिस्टिक्स सुविधा के लिए सरकार ने उत्पादकों को 2 रुपये प्रति लीटर की परिवहन सब्सिडी भी प्रदान की है।
इस पहल से पशुपालकों को स्थिर आय का स्रोत मिला है, जिससे उनकी आर्थिक स्थिति में सुधार हुआ है। साथ ही, ग्रामीण अर्थव्यवस्था को भी मजबूती मिली है।
यह नीति न केवल हिमाचल के किसानों के लिए फायदेमंद साबित हो रही है, बल्कि देश के अन्य राज्यों के लिए भी एक मिसाल बन गई है।