
अंतरराष्ट्रीय सहकारिता वर्ष 2025 के उपलक्ष्य में भारतीय राष्ट्रीय सहकारी संघ (एनसीयूआई) ने सहकारी समितियों के प्रतिनिधियों के लिए 3 से 7 जुलाई 2025 तक गुजरात में सहकारिता आंदोलन पर पांच दिवसीय एक्सपोजर विजिट का आयोजन किया। इसका उद्देश्य प्रतिनिधियों को गुजरात के समृद्ध और नवाचारी सहकारी आंदोलन का प्रत्यक्ष अनुभव कराना था।
इस मौके पर प्रतिनिधियों को 5 जुलाई को आनंद में त्रिभुवन सहकारी विश्वविद्यालय के भूमि पूजन समारोह में भाग लेने का अवसर मिला, जिसका शुभारंभ केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह द्वारा किया गया।
इस अवसर पर प्रतिनिधियों को एनसीयूआई अध्यक्ष एवं इफको के चेयरमैन दिलीप संघानी, आईसीए-एशिया पैसिफिक के अध्यक्ष डॉ. चंद्रपाल सिंह यादव और एनसीयूआई की गवर्निंग काउंसिल सदस्य जीना पोतसंगबम समेत अन्य सहकारी नेताओं से संवाद करने का मौका मिला।
अपने दौरे में प्रतिनिधिमंडल ने अमूल डेयरी प्लांट और अमूल चॉकलेट फैक्ट्री का भी भ्रमण किया, जहां उन्होंने अमूल के सहकारी मॉडल को नजदीक से देखा और जाना कि कैसे नवाचार और पेशेवर प्रबंधन के माध्यम से यह मॉडल लाखों दुग्ध उत्पादकों को सशक्त बना रहा है।
इसके अलावा प्रतिनिधियों ने गुजरात स्टेट कोऑपरेटिव यूनियन में अध्यक्ष जी.एच. अमीन से मुलाकात की। वहीं, गुजकोमासोल की यात्रा के दौरान सलाहकार वाई. ए. बलोच और महाप्रबंधक जे. जे. रूपापारा ने कृषि इनपुट वितरण में संस्था की भूमिका को रेखांकित किया।
प्रतिनिधिमंडल ने गुजरात की सांस्कृतिक विरासत को भी करीब से जाना—जिसमें साबरमती आश्रम, अहमदाबाद और एकता नगर, नर्मदा में सरदार पटेल की स्मृति में निर्मित स्टैच्यू ऑफ यूनिटी का दौरा शामिल था।
इस अध्ययन यात्रा की संकल्पना एनसीयूआई के कार्यकारी निदेशक रितेश डे ने की, जबकि सहायक निदेशक पंकज गुप्ता ने इसका समन्वय करते हुए पूरे प्रतिनिधिमंडल का मार्गदर्शन किया।
प्रतिनिधियों ने इस यात्रा को अत्यंत उपयोगी बताते हुए एनसीयूआई का आभार व्यक्त किया और सुझाव दिया कि ऐसी एक्सपोजर विजिट अन्य राज्यों और विदेशों में भी आयोजित की जानी चाहिए, ताकि श्रेष्ठ सहकारी प्रथाओं को अपनाया जा सके।